Tally क्या है? (What is Tally)

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Tally क्या है?

Tally एक Accounting Software है जिसके द्वारा Manual Account को Computerised किया जाता है. Tally Software को Tally Solutions Pvt. Ltd द्वारा बनाया गया है. यह India में Use आने वाला सबसे Popular Accounting Application Software है.

Tally के अलावा भी बहुत से Software हैं जिसकी Help से हम Manual Account को Computerised कर सकते हैं जैसे MARG, BUSY आदि.

Manual Account

पहले लेनदेन को बहियों में हाथ से लिखा जाता था.

दो या दो से अधिक व्यक्तियों के मध्य हुए लेनदेन को लाल सलदार में लिखना ही Manual Account कहलाता है.

लेनदेन

दो या दो से अधिक व्यक्तियों के मध्य हुए आदान – प्रदान को लेनदेन कहते हैं.

Account

स्मिथ और ऐशबर्न के अनुसार लेखांकन प्रणाली प्रधान रूप से व्यावसायिक घटनाओं और व्यवहारों को लिखने का विधान है. वित्तीय व्यवहारों और घटनाओं का महत्वपूर्ण सारांश बनाने, विश्लेषण करने , उनकी व्याख्या व परिणामों को उन व्यक्तियों तक पहुँचाने की कला है , जिन्हें उनके आधार पर निर्णय लेना है.

Account के प्रकार

व्यक्तिगत Account

वे खाते जो किसी व्यक्ति, फर्म या संस्था से सम्बंधित होते हैं, व्यक्तिगत Account कहलाते हैं. जैसे Ram a/c, Mohan a/c, आदि.

वस्तुगत या वास्तविक Account

वे खाते जो किसी वस्तु या सम्पति से संबंधित होते हैं, वस्तुगत खाते कहलाते हैं. जैसे Machine a/c, Furniture a/c आदि.

सम्पति दो प्रकार की होती हैं – मूर्त और अमूर्त

  • मूर्त संपत्तियां वे होती हैं जिन्हें देखा व छुआ जा सकता है यानि वे Physical मौजूद होती हैं जैसे Machine, Furniture आदि.
  • अमूर्त संपत्तियां वे होती हैं जिन्हें देखा नहीं जा सकता यानि वे Physical मौजूद नहीं होती जैसे Trade Mark, Patent, Copyright, Goodwill आदि.

अवास्तविक Account

वे खाते जो व्यापार की आय – व्यय और लाभ – हानि से सम्बंधित होते हैं, अवास्तविक खाते कहलाते हैं. इन्हें नाम मात्र के खाते भी कहा जाता है. जैसे Rent a/c, Commission a/c, Wages a/c, Salary a/c आदि.

Journal Entry करने का नियम –

व्यक्तिगत Account

प्राप्त करने वाले व्यक्ति के खाते को – Debit

देने वाले व्यक्ति के खाते को – Credit

वस्तुगत या वास्तविक Account

जो वस्तु व्यापार में आती है – Debit

जो वस्तु व्यापार से जाती है – Credit

अवास्तविक Account

खर्चे व हानि – Debit

आय (Income) व लाभ – Credit

Performa of Journal

Journal of ………………

Date Particulars L.F. Amount (In Rs.) Dr. Amount( In Rs.) Cr.
2005
Jan 1

Date: Journal का पहला Column Date होता है. हम सभी Transactions को Date Wise Enter करते हैं. इस Column में Date क्रमश: वर्ष, महीना और Date के अनुसार लिखी जाती है.

Particulars: Journal का दूसरा Column Particulars होता है. इस Column में Entry की जाती है. इसमें नियमानुसार एक खाते को Debit और दूसरे खाते को Credit किया जाता है.

L.F. (Ledger Folio No.): इस Column में Ledger के उस Page Number को लिखा जाता है जिस Page Number पर उस Transaction से संबंधित खाते का विवरण दिया गया है.

Amount: Debit किये गए खाते की राशि चौथे Column में और Credit किये गए खाते की राशि पांचवे Column में खाते के सामने लिखी जाती है.

Tally का इतिहास

Tally का निर्माण बेंगलूरु (भारत) स्थित Company में किया गया था.

श्याम सुन्दर गोएंका और उनके पुत्र भरत गोएंका ने 1986 में Accounting Software Peutronics का निर्माण किया जिसका नाम 1999 में बदल कर Tally Solutions कर दिया गया.

उस वक़्त श्याम सुन्दर गोयनका एक Company चलाया करते थे जिससे कि दूसरे प्लांट्स और टेक्सटाइल मिल्स को कच्चा माल और मशीन पार्ट्स सप्लाई करते थे. इस Business को Manage करने के लिए उनके पास कोई ऐसा Software नहीं था जिससे वो अपना हिसाब किताब आसानी से कर सके.

तब उन्होंने अपने बेटे से कहा कि एक ऐसा Software बनाओ जिससे हम अपने Business को आसानी से Manage कर सके. भरत गोयनका Mathematics में Graduate थे.

उन्होंने इस Software का सबसे पहला Version MS-DOS के लिए Launch किया. यह कुछ Basic Accounting के कार्यों को करने मे ही समर्थ था और इसे Peutronics Financial Accountant नाम दिया गया.

  • 1988 में इसका नाम Tally रखा गया. 1999 में Formally इसका नाम बदलकर Tally Solutions कर दिया गया.
  • 1990 में Tally 4.5 Version Launch किया गया. यह MS Dos पर आधारित है.
  • Tally का दूसरा Version 1996 में Tally 5.4 Launch किया गया जो कि GUI पर आधारित था.
  • 2001 में Tally 6.3 Launch किया गया.
  • 2005 में Tally 7.2 Version Launch किया गया जिसका Main Feature था VAT (Value Added Tax)
  • 2006 मे Company ने Tally 8.1 Version Release किया. यह एक से ज्यादा भाषाओं में उपलब्ध था.
  • 2006 में ही Company ने Tally 9 Version Release किया. इसमें TDS, Pay Roll की सुविधाओं में जोड़ा गया था.
  • 2009 मे Company ने Tally ERP 9 launch किया जो कि एक Business Management Software था.
  • 2015 में Company ने Tally ERP में Tax से संबन्धित Features add किए.
  • 2016-17 में Company ने अपने Software मे GST से संबन्धित सेवाएँ भी Add कर दीं.

Features of Tally (Tally की विशेषताएं)

  • Tally को Use में लेना बहुत ही सरल है.
  • इसमें Data Entry Easily हो जाती हैं और हम Result भी देख सकते हैं.
  • इसे हम अपनी Language में Use में ले सकते हैं.
  • इसमें हम 99999 Companies का Record Save कर सकते हैं.
  • यह Financial Management के साथ – साथ Inventory Management करने में भी सक्षम है. यानि इससे हम Stock भी Maintain कर सकते हैं.
  • इसके द्वारा हम Invoicing, Sale – Purchase Management भी रख सकते हैं.
  • इसमें Pay Roll सुविधा का Use करके हम Employee management भी Easily कर सकते हैं.
  • Tally हमें Performance Level को समझने और उसका विशलेषण करने में सक्षम बनाती है.
  • इसके द्वारा हम Company की Requirement के आधार पर Financial Statement Generate कर सकते हैं वो भी कभी भी.
  • इसके द्वारा हम एक से अधिक Warehouse भी Maintain कर सकते हैं.
  • इसके द्वारा हम Cost Analysis भी कर सकते हैं.

Advantage of Tally (Tally के लाभ)

  • Tally में Enter किया गया Data विश्वसनीय और सुरक्षित है.
  • कर्मचारीयों के वेतन की Entry करते समय कई Calculations करने की आवश्यकता होती है जैसे बोनस, Tax, शुद्ध भुगतान, कटौती आदि. इन्हें हम Easily कर सकते हैं.
  • Bank Users के Account को Maintain करने के लिए Tally का Use करते हैं और जमा पर Interest भी Calculate करते हैं.
  • Company बजट Maintain करने में Tally का Use करती हैं.
  • Tally Company की सभी शाखाओं को एक साथ Maintain कर सकता है.
  • Tally से Tax Easily Maintain कर सकते हैं.
  • Tally के द्वारा Company की Audit की जा सकती है.
  • Tally अपने Store Folder में सभी Vouchers, Bill सुरक्षित रख सकता है. Tally का Use करके हम इन सभी Documents को Use कर सकते हैं.

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